जिस तरह से चन्द्र शेखर "आज़ाद" थे
ठीक उसी तरह से मैं संदीप "भारत" हूँ.
"भारत" एक संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ होता है-
"वो व्यक्ति/चेतना जो ज्ञान को समर्पित हो"
यदा-यदा ही धर्मस्य ग्लानिर्भावती "भारत"
इस श्लोक में "भारत" का यही मतलब है.
संदीप भारत"देशभक्त"